झारखंड लगातार भारत के खनिज समृद्ध और औद्योगिक रूप से आशाजनक राज्यों में से एक के रूप में उभरा है। यहाँ इसकी अर्थव्यवस्था, औद्योगिक प्रयासों, ऊर्जा अवसंरचना और परिवहन संपर्क का विस्तृत विवरण दिया गया है – ये सभी प्रमुख घटक हैं जो विकास और कल्याण को बढ़ावा देते हैं।
1. तसर रेशम उत्पादन और हस्तशिल्प
झारखंड भारत के कुल तसर रेशम उत्पादन का 76.4% योगदान देता है। (★ राज्य परीक्षाओं में अक्सर पूछा जाता है )
वर्ष 2006 में झारखंड सिल्क, टेक्सटाइल एंड हैंडीक्राफ्ट डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन लिमिटेड (JHARCRAFT) की स्थापना की गई।
उद्देश्य: स्थानीय कारीगरों, स्वयं सहायता समूहों (SHGs) और NGOs को डिज़ाइन, प्रशिक्षण, विपणन, उद्यमिता और कच्चे माल का सहयोग प्रदान करना।
मुख्यमंत्री लघु वानिकी विकास बोर्ड की स्थापना की गई जो लाख, शहद, वनोंपज और हस्तशिल्प से जुड़े लोगों को सहायता देता है।
खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड कपास और रेशम की खादी के उत्पादन एवं बिक्री को बढ़ावा देता है।
2019–20 से 2020–21 के बीच , कपास खादी में 36.5% और रेशम खादी में 58.89% की गिरावट दर्ज की गई।
2. मेक इन झारखंड पहल (2022)
2022 में लॉन्च , इसका उद्देश्य औद्योगिक विकास को मजबूती देना है।
इस पहल के अंतर्गत तीन नई नीतियाँ शुरू की गईं:
झारखंड इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2022
झारखंड एथेनॉल उत्पादन संवर्धन नीति 2022
झारखंड इंडस्ट्रियल पार्क और लॉजिस्टिक्स नीति 2022
3. इंडिया इनोवेशन इंडेक्स, 2021
21 जुलाई 2022 को नीति आयोग के उपाध्यक्ष सुमन बेरी द्वारा जारी किया गया।
झारखंड 17 प्रमुख राज्यों में 10वें स्थान पर रहा। (★)
यह प्रदर्शन मजबूत औद्योगिक आधार के कारण संभव हुआ।
यह सूचकांक नीति आयोग और इंस्टीट्यूट फॉर कॉम्पटीटिवनेस द्वारा नवाचार को बढ़ावा देने के लिए विकसित किया गया।
4. खनिज क्षेत्र की प्रमुख बातें
भारत के कुल खनिज भंडार का 40% झारखंड में है। (★ प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण )
प्रमुख खनिज:
कोयला – 27.3% , लौह अयस्क – 26% , तांबा – 18.5%
अन्य: यूरेनियम, अभ्रक, बाक्साइट, ग्रेनाइट, चूना पत्थर, चांदी, ग्रेफाइट, मैग्नेटाइट, डोलोमाइट
झारखंड भारत का एकमात्र राज्य है जो कोकिंग कोल, यूरेनियम, और पाइराइट का उत्पादन करता है। (★)
रॉयल्टी आय में शीर्ष खनन ज़िले:
चाईबासा (पश्चिम सिंहभूम) (★)
धनबाद
चतरा
5. ऊर्जा क्षेत्र: स्थापित क्षमता एवं खपत (2021–22)
बिजली खपत का वितरण:
घरेलू – 64%
औद्योगिक – 23%
वाणिज्यिक – 10%
कृषि – 2%
सार्वजनिक सेवाएँ – 1%
स्वामित्व के अनुसार स्थापित क्षमता (मेगावाट में):
स्वामित्व तापीय जलविद्युत अक्षय कुल राज्य 420 130 4.05 554.05 निजी 580 0 93.09 673.09 केंद्रीय 1446.5 61 0 1507.5 कुल 2446.5 191 97.14 2734.64
6. कोयला ऊर्जा और अल्ट्रा मेगा पावर प्रोजेक्ट्स
झारखंड भारत का एकमात्र राज्य है जहां कोल इंडिया लिमिटेड की तीनों अनुषंगी इकाइयाँ (CCL, BCCL, ECL) हैं। (★)
अडानी का 1600 मेगावाट का पावर प्लांट (गोड्डा) बांग्लादेश को बिजली देगा।
17 अल्ट्रा मेगा पावर प्रोजेक्ट्स (UMPPs) की पहचान; 9 को मंजूरी।
पहला UMPP: तिलैया
दूसरा: हुसैनाबाद (देवघर)
7. नवीन अक्षय ऊर्जा पहल
झारखंड में प्रति वर्ष 300 दिन सूरज की रोशनी और औसतन 4–5 घंटे सौर विकिरण प्राप्त होता है।
अनुमानित सौर ऊर्जा क्षमता: 18,180 मेगावाट
कुल नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता: 18,508 मेगावाट
सौर पार्क योजना (12 दिसंबर 2014 को शुरू)
प्रारंभिक लक्ष्य: 20,000 मेगावाट → 2017 में बढ़ाकर 40,000 मेगावाट किया गया
2021–22 तक 50 सौर पार्क प्रस्तावित।
झारखंड में स्वीकृत सौर पार्क (31 दिसंबर 2021 तक):
फ्लोटिंग सोलर पार्क – 100 MW
देवघर – 20 MW
पलामू – 20 MW
गढ़वा – 20 MW
सिमडेगा – 20 MW (★)
8. परिवहन अवसंरचना
सड़कें
सड़कें अंतर-जिला, अंतर-राज्य कनेक्टिविटी को बेहतर बनाकर आर्थिक विकास को गति देती हैं।
झारखंड में कुल सड़क लंबाई (अगस्त 2022 तक):
सड़क प्रकार लंबाई (किमी) राष्ट्रीय राजमार्ग 3,340 राज्य राजमार्ग 1,232 प्रमुख जिला सड़कें 4,846 अन्य RCD सड़कें 7,366
सड़क घनत्व (2022): 168.70 किमी/1000 वर्ग किमी
2021 में यह 162.27 था – यानी 6.43 किमी/1000 वर्ग किमी की वृद्धि (★)
रेलवे
रांची रेलवे डिवीजन 2003 में स्थापित किया गया।
स्वच्छ भारत मिशन के तहत कई स्टेशनों (रांची, टाटानगर, हटिया, धनबाद आदि) को ईको-स्मार्ट स्टेशन के रूप में विकसित किया जा रहा है।
कोविड-19 के दौरान: टाटानगर और बोकारो से ऑक्सीजन एक्सप्रेस ट्रेनों का संचालन।
टाइम टेबल पार्सल ट्रेनें – दवाएं और आवश्यक वस्तुएं पहुँचाने के लिए।
ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (EDFC): कुल 1,856 किमी लंबा, जिसमें से 196 किमी झारखंड से गुज़रेगा। (★)
9. श्रम और रोजगार
1. दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल योजना (DDU-GKY)
ग्रामीण युवाओं को कौशल प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार दिलाने की योजना।
झारखंड का प्लेसमेंट रेट: 45.2% , जबकि राष्ट्रीय औसत 60.9% है।
2. पीएम स्वनिधि योजना (PM-SVANidhi)
स्ट्रीट वेंडरों को कार्यशील पूंजी के लिए माइक्रो-क्रेडिट ।
झारखंड में 35,000 आवेदकों में:
ओबीसी – 51% , सामान्य – 29%, अल्पसंख्यक – 9%, SC – 8% , ST – 4% , अन्य – 3%
3. प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (PMEGP)
18 वर्ष से अधिक आयु और न्यूनतम 8वीं पास व्यक्तियों को सब्सिडी युक्त ऋण ।
4. प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (PMKVY)
कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय द्वारा संचालित।
झारखंड की भागीदारी: कुल प्रमाण पत्रों का 2%
5. ई-श्रम पोर्टल
असंगठित श्रमिकों (माइग्रेंट, कंस्ट्रक्शन, गिग वर्कर आदि) का राष्ट्रीय डेटाबेस।
झारखंड में 90 लाख+ श्रमिक पंजीकृत। (★)
6. ज़रूरत ऐप (Zarurat App)
स्थानीय नियोक्ता और सेवा प्रदाता (इलेक्ट्रीशियन, ड्राइवर, प्लंबर आदि) को जोड़ने वाला ऐप।
7. औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (ITI)
सरकारी ITI: 74 (62 सहशिक्षा, 12 महिला विशेष)
निजी ITI: 256
PPP मोड: 6, CSR मोड: 4
8. मुख्यमंत्री श्रमिक शहरी रोजगार गारंटी योजना
प्रत्येक वित्तीय वर्ष में 100 दिन का रोजगार प्रदान करना।
9. श्रमिक मित्र योजना
निर्माण श्रमिकों को सरकारी योजनाओं और लाभों तक पहुँच में सहायता देना।
10. हवाई परिवहन विकास
झारखंड नागरिक उड्डयन नीति का मसौदा निर्माणाधीन।
साहिबगंज में नया हवाई अड्डा निर्माणाधीन।
डुमका में वाणिज्यिक पायलट प्रशिक्षण संस्थान (CPL) की स्थापना।
फ्लाइट ऑपरेशन्स (30 सितंबर 2022 तक): 33 उड़ानें, 15% वार्षिक वृद्धि ।
उड़ान कनेक्टिविटी:
रांची ↔ लखनऊ, अहमदाबाद, पुणे
देवघर ↔ कोलकाता, नई दिल्ली
11. श्रमिक भागीदारी आंकड़े (आयु 15–59 वर्ष)
श्रम बल भागीदारी दर (LFPR):
वर्ष कुल पुरुष महिला शहरी ग्रामीण 2019–20 59.8% 81.4% 38.9% 65.1% 82.9% 2020–21 47.9% 63.3% 47.0% 50.1% 69.4%
★ महिला LFPR में 21.7% की वृद्धि।
कार्यकर्ता जनसंख्या अनुपात (WPR):
वर्ष कुल पुरुष महिला शहरी ग्रामीण 2019–20 57.0% 76.4% 38.3% 43.0% 61.2% 2020–21 62.9% 79.0% 46.6% 45.2% 68.0%
बेरोजगारी दर:
वर्ष कुल पुरुष महिला शहरी ग्रामीण 2019–20 4.6% 6.2% 1.3% 10.2% 3.4% 2020–21 4.8% 3.3% 0.8% 9.8% 2.0%
★ ग्रामीण बेरोजगारी दर में गिरावट।
मनरेगा (MGNREGA):
हर वर्ष ग्रामीण क्षेत्र में 100 दिन का अकुशल रोजगार की गारंटी।
12. शिक्षा क्षेत्र – झारखंड
1. साक्षरता दर
वर्ष कुल पुरुष महिला 2001 53.6% 67.3% 38.87% 2011 66.41% 76.84% 55.42% 2020–21 73.1% 82.3% 63.8%
★ शहरी साक्षरता दर (2020–21): 85.4%
★ ग्रामीण साक्षरता दर (2020–21): 69.9%
राष्ट्रीय औसत: 79.2%
2. बालिका शिक्षा
203 कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय चालू, SC/ST/OBC/अल्पसंख्यक वर्ग की छात्राओं के लिए (कक्षा 6–12 तक)
3. एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय (EMRS)
वर्ष 2021 में 50 EMRS की आधारशिला , इनमें 20 झारखंड में।
आदिवासी छात्रों (कक्षा 6–12) को निःशुल्क शिक्षा, खेल, व्यक्तित्व विकास आदि।
4. विद्यालय समेकन नीति
छोटे स्कूलों का विलय, शिक्षक उपलब्धता और शिक्षा गुणवत्ता में सुधार हेतु।
★ 2016–22 के बीच स्कूलों की संख्या में 10% की कमी।
5. छात्र-शिक्षक अनुपात (2021–22)
स्तर अनुपात आदर्श (RTE) समग्र 43.49 — प्राथमिक विद्यालय 30.71 30 उच्च प्राथमिक 45.88 35
13. उच्च एवं तकनीकी शिक्षा
कुल विश्वविद्यालय – 34
राज्य निजी विश्वविद्यालय – 16
राज्य सार्वजनिक – 12
राष्ट्रीय महत्व संस्थान – 5
डीम्ड विश्वविद्यालय – 1
मुक्त विश्वविद्यालय – 1
केंद्रीय विश्वविद्यालय – 1
2019–20 के बाद 4 नए विश्वविद्यालय जोड़े गए:
1 राज्य विश्वविद्यालय
1 सार्वजनिक विश्वविद्यालय
2 निजी विश्वविद्यालय
झारखंड राज्य मुक्त विश्वविद्यालय (JSOU)
JSOU अधिनियम 2021 के तहत स्थापित
मुख्यालय: रांची | 50 अध्ययन केंद्र (अक्टूबर 2022 तक)
UG/PG/PhD, डिप्लोमा, सर्टिफिकेट कोर्सेस (डिस्टेंस मोड)
प्रस्तावित निजी विश्वविद्यालय विधेयक (2022):
बाबू दिनेश सिंह विश्वविद्यालय विधेयक
जैन विश्वविद्यालय विधेयक
सोना देवी विश्वविद्यालय विधेयक
14. छात्रवृत्ति एवं महिला सशक्तिकरण योजनाएँ
सावित्रीबाई फुले किशोरी समृद्धि योजना
शुरूआत: 11 अक्टूबर 2022
★ उद्देश्य: बालिका शिक्षा और सशक्तिकरण
लाभ:
कक्षा 8–9 में प्रवेश पर ₹2,500
कक्षा 10–12 में ₹5,000
18–19 वर्ष की लड़कियों को एकमुश्त सहायता
मरांग गोमके जयपाल सिंह मुंडा विदेशी छात्रवृत्ति योजना
UK सरकार (FCDO) के सहयोग से
SC, ST, OBC, अल्पसंख्यक छात्रों में से 25 छात्र/वर्ष को चयनित किया जाता है
लाभ: 1 वर्ष की मास्टर्स, 2 वर्ष की MPhil
आयु सीमा: अधिकतम 35 वर्ष
★ पिछले वर्ष: 7 छात्र चयनित , संस्थान:
Loughborough University
University of Warwick
University of Sussex
15. तकनीकी शिक्षा
पॉलिटेक्निक संस्थान – 43
निजी – 18, सरकारी – 17, PPP मॉडल – 8
इंजीनियरिंग कॉलेज – 17 क्रियाशील
16. झारखंड में महिला स्वास्थ्य पहल
जननी सुरक्षा योजना (JSY)
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (NHM) के अंतर्गत लागू
उद्देश्य: संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देकर मातृ एवं नवजात मृत्यु दर में कमी
लाभ: ग्रामीण में ₹1,400 | शहरी में ₹1,000
★ उच्च संस्थागत प्रसव दर:
रामगढ़ (9.24%), धनबाद (7.56%), बोकारो (7.11%)
जननी शिशु सुरक्षा कार्यक्रम (JSSK)
गर्भवती महिलाओं को नि:शुल्क मेडिकल जांच, इलाज एवं अस्पताल परिवहन सुविधा
मुख्यमंत्री जननी स्वास्थ्य सुरक्षा योजना
संस्थागत प्रसव को बढ़ावा, शिशु और मातृ मृत्यु दर में कमी
प्रसव के समय वित्तीय सहायता
ममता वाहन योजना
PPP आधारित योजना | गर्भवती महिलाओं को नि:शुल्क अस्पताल परिवहन
आयुष्मान भारत – मुख्यमंत्री जन आरोग्य योजना (AB-MMJAY)
2022 में शुरू , PM-JAY के अनुरूप
★ ₹5 लाख तक की कैशलेस, पेपरलेस स्वास्थ्य बीमा
पूर्ववर्ती योजनाएँ (मुख्यमंत्री स्वास्थ्य बीमा, गंभीर बीमारी उपचार योजना) इसमें समाहित
17. पेयजल और स्वच्छता
NFHS-5 (2019–20) के आँकड़े:
★ 86.6% जनसंख्या को सुधारित पेयजल की सुविधा (शहरी: 94.6%, ग्रामीण: 84.1%)
★ 56.7% को सुधारित स्वच्छता की सुविधा (शहरी: 75.99%, ग्रामीण: 50.8%)
जल जीवन मिशन
लॉन्च: 15 अगस्त 2019
★ उद्देश्य: हर ग्रामीण परिवार को FHTC (Functional Household Tap Connection) 2024 तक
दैनिक लक्ष्य: 55 लीटर प्रति व्यक्ति/दिन
दिसंबर 2022 तक कवरेज:
रामगढ़: 55.3%, सिमडेगा: 40.39%, बोकारो: 35.81%
शहरी पेयजल परियोजना (2022)
18 नगरीय निकायों के लिए ₹2,300 करोड़ की योजना
वित्तपोषण: विश्व बैंक, ADB, AMRUT मिशन
झारखंड अर्बन डेवलपमेंट कंपनी द्वारा संचालित
₹1,800 करोड़ की योजना 15 अन्य नगरीय क्षेत्रों के लिए प्रस्तावित
18. महिला, बाल विकास एवं सामाजिक सुरक्षा
बाल मृत्यु दर में सुधार (NFHS-5, 2019–21)
संकेतक 2015–16 2019–21 नवजात मृत्यु दर (NMR) 33 ★ 28.2 शिशु मृत्यु दर (IMR) 43.8 ★ 37.9 5 वर्ष से कम आयु की मृत्यु दर 54.3 ★ 45.4
प्रमुख महिला और बाल विकास योजनाएँ
1. महिला हेल्पलाइन नंबर
24×7 सहायता सेवा , हिंसा पीड़ित महिलाओं के लिए।
★ पुलिस, कानूनी, एंबुलेंस और अस्पताल सहायता उपलब्ध।
2. बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ
झारखंड के 12 ज़िलों में लागू।
★ उद्देश्य: लिंगानुपात और बालिका शिक्षा में सुधार।
2401 ‘गुड़्डी-गुड्डा’ बोर्ड पंचायत भवनों में लगाए गए — लिंगानुपात की निगरानी हेतु।
3. वन स्टॉप सेंटर (OSC)
सभी 24 जिलों में प्रचालित।
★ सेवाएँ: पुलिस, विधिक सहायता, चिकित्सीय सेवा, परामर्श, अस्थायी आश्रय।
बाल संरक्षण योजनाएँ
4. राज्य पोषण मिशन
★ कुपोषण से निपटने हेतु विभागों के बीच समन्वय।
5. SAAMAR अभियान (मार्च 2021)
पूर्ण रूप: Strategic Action for Alleviation of Malnutrition and Anaemia Reduction
★ फोकस समूह: 0–9 वर्ष के बच्चे, किशोरियाँ, गर्भवती एवं स्तनपान कराने वाली महिलाएँ
मोबाइल ऐप आधारित सर्वेक्षण से कुपोषण और एनीमिया की पहचान
प्रारंभिक जिले: पश्चिम सिंहभूम, चतरा, सिमडेगा, साहेबगंज
6. जुवेनाइल जस्टिस फंड
जुवेनाइल जस्टिस अधिनियम, 2017 के तहत गठित
★ उद्देश्य: बाल अपराधियों के कल्याण और पुनर्वास के लिए उपयोग
महिला कल्याण योजनाएँ
7. मुख्यमंत्री कन्यादान योजना
★ वार्षिक आय ₹72,000 से कम होने पर शादी हेतु ₹30,000 की सहायता।
★ दहेज-रहित विवाह को प्रोत्साहन।
वर्ष 2021–22 में 10,000 लड़कियाँ लाभान्वित , जिनमें रांची ज़िले से सर्वाधिक (1,000+) ।
8. सामाजिक कुरीति उन्मूलन योजना
★ टारगेट: डायन-प्रथा, दहेज, अन्य सामाजिक बुराइयों का उन्मूलन।
गतिविधियाँ:
जागरूकता अभियान
सामूहिक विवाह योजनाएँ
दहेज-रहित विवाह के लिए प्रोत्साहन
सामुदायिक शवदाह हेतु सहायता
9. तेजस्विनी परियोजना (विश्व बैंक सहायता प्राप्त)
★ भारत की एकमात्र परियोजना , जो 14–24 वर्ष की किशोरियों/महिलाओं को शिक्षा और रोजगारपरक प्रशिक्षण देती है।
लागू जिले: 17 (पायलट: दुमका और देवघर )
अन्य महत्वपूर्ण पहलें:
ऑपरेशन हाफवे होम्स (Operation Halfway Homes)
★ मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास परियोजना: रांची, जमशेदपुर, धनबाद में चलाई जा रही है।
★ मानसिक रूप से बीमार व्यक्तियों के इलाज और पुनः एकीकरण पर केंद्रित।
पूरक पोषण कार्यक्रम (Supplementary Nutrition Programme)
★ लक्षित समूह: गर्भवती महिलाएं, स्तनपान कराने वाली माताएं, और 7 माह से 6 वर्ष तक के बच्चे।
300 दिन/वर्ष आंगनवाड़ी केंद्रों के माध्यम से संचालित।
फंडिंग: 50:50 केंद्र और राज्य सरकार के बीच।
प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (PMMVY)
★ NFHS-5 के अनुसार, 15–49 वर्ष की 65.3% महिलाएं एवं 56.8% गर्भवती महिलाएं एनीमिक हैं।
पहली संतान के लिए गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं को ₹5,000 तीन किश्तों में।
स्वाधार गृह योजना (Swadhar Greh Yojana)
★ संकटग्रस्त महिलाओं के लिए आश्रय और पुनर्वास की व्यवस्था।
5 जिलों में क्रियाशील: रामगढ़, गिरिडीह, हज़ारीबाग, देवघर, साहेबगंज ।
NGOs के माध्यम से संचालित।
उज्ज्वला योजना (Ujjwala Yojana)
प्रारंभ: मई 2016
★ उद्देश्य: महिलाओं को साफ-सुथला एलपीजी ईंधन प्रदान करना जिससे परिवार का स्वास्थ्य सुरक्षित रहे।
फंडिंग: 60:40 केंद्र और राज्य सरकार के बीच।
महिला शक्ति केंद्र (Mahila Shakti Kendra)
★ ग्रामीण महिलाओं को सशक्त बनाने हेतु, छात्रों, NCC कैडेट्स और महिलाओं की भागीदारी से संचालित।
सभी 24 जिलों में लागू।
PM Women Empowerment Mission की उप-योजना ।
पोषण पखवाड़ा प्रदर्शन (POSHAN Pakhwada Performance – 2022)
★ झारखंड की रैंकिंग: भारत में 7वां स्थान ।
सुधार: 2021 में 8वां, 2020 में 12वां स्थान था।
2022 में गतिविधियाँ 11% अधिक रही।
★ 19 जिलों ने राष्ट्रीय औसत से बेहतर प्रदर्शन किया, 5 जिले बराबरी पर।
जनजातीय कल्याण और वंचित समुदाय
जनसांख्यिकीय संरचना (Demographic Composition)
★ झारखंड की 50%+ आबादी: SC, ST और अल्पसंख्यक समुदायों से।
जनगणना 2011 के अनुसार:
ST: ★ 26.2%
SC: 12.1%
अल्पसंख्यक: 19.1%
★ भारत में जनजातीय जनसंख्या में झारखंड 12वें स्थान पर।
★ भारत की कुल जनजातीय जनसंख्या का 8.3% झारखंड में।
★ PVTGs (प्रिमिटिव ट्राइबल ग्रुप्स) की हिस्सेदारी: ~3%
प्रमुख जनजातियाँ:
★ संथाल (34%), उरांव (19.86%), मुंडा (14.22%), हो (10.74%)
ST सूची में नवीन जनजातियाँ (2022 संशोधन अधिनियम)
शामिल समूह: देशवारी, गंझू, दौलतबंदी, पाटबंदी, राउत, माझिया, खैरी, तमड़िया, पुरन।
★ भगता समुदाय को SC सूची से हटाया गया।
जिलेवार ST/SC जनसंख्या
★ ST प्रतिशत सबसे अधिक: खूंटी (73.26%), सिमडेगा (70.78%)
★ ST प्रतिशत सबसे कम: कोडरमा (0.96%), चतरा (4.37%)
★ SC प्रतिशत सबसे अधिक: पलामू (27.65%) , सबसे कम: पाकुड़ (3.16%)
जनजातीय साक्षरता और लिंगानुपात
★ जनजातीय साक्षरता दर: 57.1%
पुरुष ST साक्षरता: 68.2%
महिला ST साक्षरता: 58.1%
★ सबसे अधिक साक्षरता: उरांव जनजाति – 67%
★ ST लिंगानुपात: 1003
★ सबसे अधिक लिंगानुपात: हो जनजाति – 1021
★ बच्चों का लिंगानुपात: 976 (Baiga जनजाति – ★ 1104)
PVTGs (अत्यंत पिछड़ी जनजातियाँ)
8 प्रमुख समूह:
★ माल पहाड़िया (46%), सौरिया पहाड़िया (16%)
कोरवा (12%), परहिया (9%)
असुर (8%), बिरजिया (2%), बिरहोर (4%), सावर (3%)
भौगोलिक एकाग्रता:
माल-सौरिया: साहेबगंज, पाकुड़, गोड्डा
कोरवा-परहिया: गढ़वा, पलामू, लातेहार
असुर: गुमला, हज़ारीबाग, रामगढ़
बिरजिया: गुमला, लातेहार
सावर: पूर्वी सिंहभूम
अनुसूचित क्षेत्र एवं ब्लॉक
★ 24 में से 15 जिले अनुसूचित क्षेत्र में आते हैं।
जैसे: रांची, खूंटी, गुमला, सिमडेगा, पश्चिमी सिंहभूम, सरायकेला-खरसावां आदि।
TSP/माडा क्षेत्र का वर्गीकरण
वर्ग मापदंड TSP >50,000 जनसंख्या और >50% ST अतिरिक्त TSP <50,000 जनसंख्या और >50% ST MADA >10,000 जनसंख्या और >50% ST मिनी-MADA >5,000 जनसंख्या और >50% ST
★ सभी ITDP (एकीकृत जनजातीय विकास परियोजनाओं) के अंतर्गत आते हैं।
अनुसूचित क्षेत्रों में ग्राम सभा सशक्तिकरण
★ ग्राम प्रधान (मांझी, मुंडा, पाहन आदि) को ₹25 लाख खर्च करने का अधिकार।
उपयोग: जनजातीय सांस्कृतिक भवनों जैसे मांकी-मुंडा भवन, धुमकुरिया भवन आदि का निर्माण।
प्रमुख छात्रवृत्ति कार्यक्रम:
★ प्री-मैट्रिक एवं पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्तियाँ
टॉप क्लास छात्रवृत्ति योजना
★ मारांग गोमके जयपाल सिंह मुंडा विदेश छात्रवृत्ति योजना
व्यावसायिक/तकनीकी पाठ्यक्रम हेतु छात्रवृत्ति
अनुसंधान फेलोशिप योजनाएँ
साइकिल वितरण योजना
★ ST/SC/BC छात्रों को स्कूल जाने हेतु ₹3,500 की राशि।
वंचित समुदायों हेतु स्वास्थ्य योजनाएँ
चिकित्सा सहायता:
सामान्य मामलों में ₹3,000 (जिला कल्याण पदाधिकारी के माध्यम से)
गंभीर मामलों में ₹10,000 (DC द्वारा प्रदान)
पहाड़िया स्वास्थ्य उप-केंद्र (Pahariya Health Sub-Centers):
★ 18 केंद्र संचालित — पाकुड़, साहेबगंज, दुमका, गोड्डा में।
कल्याण अस्पताल (Kalyan Hospitals)
★ कुल: 16 अस्पताल , प्रत्येक में 50 बिस्तरों की सुविधा ।
संचालन: विभिन्न NGOs द्वारा।
★ लाभार्थी: जनजातीय एवं निर्धन वर्ग।
जिला स्थान NGO रांची जोन्हा, टिगरा Rinchi Trust, TRY जामताड़ा नाला SANMAT दुमका काठीकुंड SANMAT गुमला नागफेनी Dynamic Tarang पश्चिमी सिंहभूम लोड़ोड़ीह Deepak Foundation सरायकेला कुपाई Deepak Foundation साहेबगंज पथना Citizen Foundation पाकुड़ लिट्टीपाड़ा Rinchi Trust पूर्वी सिंहभूम बन्माकरी विकास भारती सिमडेगा बानो ICERT लातेहार मननचोटाग ICERT
जनजातियों में आनुवांशिक रोग अनुसंधान
★ ₹61 करोड़ स्वीकृत — रक्त रोगों (जैसे सिकल सेल एनीमिया) पर अनुसंधान हेतु।
अनुसंधान एजेंसी: भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR)
सिकल सेल एनीमिया की व्यापकता:
गुमला (★ 11%), खूंटी (5%), सरायकेला (5%), जामताड़ा (5%), लातेहार (3%)
PVTGs के लिए आवास
बिरसा आवास योजना:
★ राज्य गठन के बाद शुरू हुई।
प्रति परिवार ₹1,31,500 की पूर्ण सब्सिडी।
शहीद ग्राम विकास योजना (2017–18)
★ स्वतंत्रता सेनानियों के गाँवों को आदर्श ग्राम के रूप में विकसित करना।
आधारभूत संरचना: आवास, जल, सौर ऊर्जा आदि।
सेनानी ग्राम जिला बिरसा मुंडा उलिहातू खूंटी सिद्धो-कान्हू भोगनाडीह साहेबगंज नीलांबर-पीतांबर मेहगढ़ी गढ़वा वीर बुधु भगत सिलगड़ी रांची ताना भगत नवाटोली गुमला तिलंगा खड़िया मुर्गु गुमला दीवा सोरेन डिबडीह सरायकेला किशुन मुर्मू गुमीदपुर पश्चिमी सिंहभूम फोटू हो राजाबासा पश्चिमी सिंहभूम भगिरथ मांझी टरहिता गोड्डा
कौशल विकास एवं महिला सशक्तिकरण
वेलफेयर गुरुकुल:
★ प्रवाह फाउंडेशन द्वारा संचालित।
SC/ST/अल्पसंख्यक समुदाय की महिलाओं और युवाओं के लिए 22 गुरुकुल ।
स्किल कॉलेज:
★ 7 जिलों में कुल 9 स्किल कॉलेज ।
ST/अल्पसंख्यक लड़कियों को सशक्त करने हेतु।
टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स पहल:
★ तमिलनाडु (होसुर) प्लांट में झारखंड की 1984 लड़कियों को रोजगार मिला।
सर्वाधिक लाभार्थी: सिमडेगा (891), खूंटी, पश्चिमी सिंहभूम, सरायकेला-खरसावां।
योग और अंग्रेज़ी प्रशिक्षण भी शामिल।
★ 1 वर्ष कार्य के पश्चात बी.एससी. डिग्री की पात्रता।
वानिकी एवं प्राकृतिक संसाधन
मोती पालन (Van Dhan Yojana):
★ खूंटी के अड़की प्रखंड में भारत का पहला मोती पालन केंद्र।
संचालित: TRIFED द्वारा।
कुल लागत: ₹15 लाख
★ 25 वान धन केंद्र स्थापित किए जाएंगे।
●वन आवरण (India State of Forest Report – 2021)
★ कुल वन क्षेत्र: राज्य के 29.76%
बहुत सघन वन: 3.26% (2601 किमी²)
मध्यम सघन वन: 12.15% (9689 किमी²)
खुला वन: 14.34% (11,431 किमी²)
2019–21 में कुल वृद्धि: +109.79 किमी²
★ सर्वाधिक वृद्धि: गढ़वा (+40.13), पलामू (+14.95), हज़ारीबाग (+10.42) ★ उच्चतम प्रतिशत: लातेहार (56%), चतरा (47.93%) ★ न्यूनतम: जामताड़ा (5.85%), देवघर (8.31%)
मुख्यमंत्री जन वन योजना:
निजी भूमि पर पेड़ लगाने हेतु 75% सब्सिडी ।
2020–23 में 31.1 लाख पौधे रोपे गए ।
★ डुमका में सर्वाधिक रोपण (21.5 लाख पौधे)।
नदी उत्सव एवं मेगा पौधारोपण अभियान:
★ उद्देश्य: नदी तटों की रक्षा एवं जलवायु चेतना।
2022 में 1.2 करोड़ पौधे लगाए गए।
★ टॉप डिवीजन: डुमका (11%), रांची, जमशेदपुर।
73वां वन महोत्सव (2022):
★ पंडाग (22 जुलाई 2022) में आयोजित।
★ हर पौधा लगाने पर 5 यूनिट मुफ्त बिजली की घोषणा।
जैव विविधता पार्क:
स्थापित: चाकुलिया, गिरिडीह, साहेबगंज, दुमका में।
★ साहेबगंज में झारखंड का इकलौता जीवाश्म पार्क आमजन के लिए खोला गया।
जल संसाधन
★ औसत वर्षा (2022): 1222.7 मिमी (2020 से +84.9 मिमी अधिक)
★ कुल उपलब्ध भूजल: 5.69 बीसीएम
★ अति-उपयोग वाले ब्लॉक: 5
★ अर्ध-संवेदनशील/संवेदनशील: 17 ब्लॉक
ऊर्जा संसाधन
कोयला भंडार:
कुल: ★ 33 अरब टन (20 अरब टन निकासी योग्य)
●यूरेनियम:
★ जादूगुड़ा खान – भारत की सबसे पुरानी और बड़ी खान।
संचालक: UCIL
भंडार: ~45,000 टन
सौर ऊर्जा:
★ लक्ष्य: 1000 मेगावाट (2022 तक)
प्रमुख परियोजना: गोड्डा में 50 मेगावाट संयंत्र
● हाइड्रो पावर:
पवन ऊर्जा:
★ 100 मेगावाट पवनचक्की संयंत्र – धालभूमगढ़ में
★ कुल नवीकरणीय ऊर्जा लक्ष्य (2022): 2000 मेगावाट
पर्यटन, कला, संस्कृति एवं खेल
पर्यटन आगमन आँकड़े:
★ देशी पर्यटक (2013–19): 32.5 लाख → 35.5 लाख CAGR: ★ 1.53%
विदेशी पर्यटक: 1.3 लाख → 1.8 लाख CAGR: ★ 4.7%
कोविड प्रभाव: दोनों में गिरावट
★ प्रमुख सीजन: श्रावण मास (देवघर तीर्थ)
राष्ट्रीय रैंक (2020):
★ घरेलू: 19वां
★ अंतरराष्ट्रीय: 23वां
झारखंड पर्यटन नीति – 2021:
★ लक्ष्य: 2025 तक शीर्ष 10 पर्यटक राज्यों में स्थान
★ फोकस: इको-टूरिज्म, विरासत, ग्रामीण व खनिज पर्यटन
PPPs, NGOs, स्थानीय युवाओं की भागीदारी पर जोर
कला एवं संस्कृति
★ छऊ नृत्य केंद्र:
सरायकेला – राजकीय छऊ नृत्य केंद्र
सिल्ली – राजकीय मानभूम छऊ केंद्र
रांची – झारखंड कला मंदिर
खेल एवं युवा मामले
प्रमुख योजनाएँ:
★ खिलाड़ी कल्याण कोष: वित्तीय, उपकरण, चिकित्सा सहायता
★ पे एंड प्ले स्कीम: निजी भागीदारी से प्रतिभा निखारना
★ टाटा इनिशिएटिव: रांची में हॉकी अकादमी प्रस्तावित
★ झारखंड एथलेटिक्स अकादमी का सहयोग
★ पंचायत युवा खेल अभियान
★ एम.एस. धोनी क्रिकेट अकादमी (5 एकड़ भूमि आवंटित)
★ “युवोत्सव” – राष्ट्रीय युवा दिवस पर मनाया जाता है
झारखंड खेल नीति – 2022
★ लॉन्च: 13 सितंबर 2022, CM हेमंत सोरेन द्वारा
★ अवधि: 5 वर्ष
★ उद्देश्य:
प्रतिभा की पहचान और प्रशिक्षण
आधारभूत संरचना, प्रोत्साहन
राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भागीदारी
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